भोपाल । मध्य प्रदेश को वर्तमान में प्रभावित करने वाली कोई प्रभावी मौसम प्रणाली सक्रिय नहीं है। दो अगस्त के बाद मानसून ट्रफ के फिर सामान्य स्थिति में आने की संभावना है। इससे वर्षा का सिलसिला एक बार फिर शुरू हो सकता है। मानसून ट्रफ भी तराई में चला गया है। इस वजह से वर्षा की गतिविधियों में कमी आ गई है। मध्य प्रदेश के पूर्वी क्षेत्र को छोडकर सभी जिलों में वर्षा का दौर लगभग थम गया है। उधर शनिवार को सुबह साढ़े आठ बजे से शाम साढ़े पांच बजे तक दमोह में 16, जबलपुर में 11, सिवनी में 11, नौगांव में सात, छिंदवाड़ा में चार, मलाजखंड चार, नरसिंहपुर में तीन, मंडला में तीन, खरगोन में 0.4, धार में 0.2 मिलीमीटर वर्षा हुई। पूर्व वरिष्ठ मौसम विज्ञानी अजय शुक्ला के अनुसार, वर्तमान में मानसून ट्रफ फिरोजपुर, रोहतक, मेरठ, गोरखपुर, मुजफ्फरपुर, अगरतला होते हुए बांग्लादेश तक जा रहा है। इसके अलावा मप्र के मौसम का प्रभावित करने वाली कोई अन्य मौसम प्रणाली सक्रिय नहीं है। दो अगस्त के आसपास उत्तर प्रदेश पर हवा के ऊपरी भाग में एक चक्रवात बनने के संकेत मिले हैं। इसके असर से मानसून ट्रफ फिर से अपनी सामान्य स्थिति में आने लगेगा। इससे मप्र में फिर से वर्षा का सिलसिला शुरू हो सकता है।  वरिष्ठ मौसम विज्ञानी अशफाक खान के अनुसार, वातावरण में नमी कम होने से बादल छंटने लगे हैं। वर्षा का दौर थमने लगा है। इस वजह से दिन का तापमान बढ़ने लगा है। साथ ही उमस महसूस होने लगी है। हालांकि मानसून ट्रफ के कारण कुछ आद्रता पूर्वी मप्र में आ रही है, जिसके चलते जबलपुर, रीवा, सागर, शहडोल संभागों के जिलों में कहीं-कहीं छिटपुट वर्षा हो रही है। रविवार से पूर्वी मप्र में भी वर्षा की गतिविधियों में कमी आ सकती है।